खनन माफियाओं के दबाव में हुए सीओ साहब के डिमोशन के खिलाफ बढ़ रहा जनाक्रोश

लखीमपुर–खनन माफियाओं पर कार्रवाई कर 4 ट्रेक्टर ट्राली और करीब 5 सौ ट्राली बालू का स्टोरेज पकड़ने वाले पलिया खीरी के सीओ राकेश नायक का खनन माफियाओं के दबाव में एसपी खीरी ने डिमोशन कर उनका तबादला सीओ ट्रैफिक के पद पर कर दिया था।

यह भी पढ़ें-बेरोजगार युवाओं के लिए CCC कम्प्यूटर प्रशिक्षण योजना आनलाइन संचालित

इस बात को लेकर न्यूज़ चैनल और शोशल मीडिया पर खीरी पुलिस की खूब धज्जियां उड़ी तो खीरी पुलिस इसे बेहतर पुलिस प्रबंधन के लिए महज स्थानान्तरण का मामला बताकर उच्चाधिकारियों को गुमराह करने लगी थी जबकि मामला पूरी तरह खनन से जुड़ा हुआ था। यहां तक डीएम खीरी ने भी पलिया एसडीएम से कोई जवाब नही मांगा था कि इतने बड़े पैमाने पर खनन हो रहा था तो वह क्या कर रहीं थीं। इस पर आम लोग खासे नाराज हैं और इसके खिलाफ तहसील पहुंच कर ज्ञापन दे रहे है। 12 जून को भी महिला पुरुष ज्ञापन देने पहुंचे थे ज्ञापन लेने में भी पलिया एसडीम 2 घंटे बाद पहुंची और इसके बाद ही वहां मौजूद आदिवासी 4 थारू समुदाय और अन्य महिलाओं समेत करीब 9 लोगो को कस्टडी में लेकर थाने में बैठा लिया और उनको नामजद करते हुए कई धाराओं में मुकदमा भी दर्ज कर दिया। महिलाओ को नियम विरुद्ध रात में भी थाने में ही रखा गया है।

इसके लिए पलिया एसडीएम जो कि महिला हैं और खीरी की एसपी वो भी महिला हैं उनका भी दिल नही पसीजा की आदिवासी और अन्य महिलाओं के साथ वो कैसा बर्ताव करवा रहीं हैं। जो भी हो लेकिन यह साफ नजर आने लगा है कि खीरी पुलिस और प्रशाशन के अधिकारी अब किरकिरी होते देख दमन की करवाई पर उतर आए है और किसी के विरोध की स्वतंत्रता को जबरन छीनने में जुट गए है। प्रदेश के उच्चाधिकारियों को जल्द ही इस मामले को देखना होगा नही तो किसी के भी साथ अब कुछ भी गलत हो सकता है।

codemonisationmining mafiapaliyapolice
Comments (0)
Add Comment