कोर्ट ने नाबालिग से पूछा- गर्भपात चाहती हो या नहीं 

दिल्ली — दिल्ली हाईकोर्ट ने 15 साल की गर्भवती लड़की से पूछा कि वह ‘‘स्पष्ट ढंग से’’ बताए कि क्या वह अपनी मर्जी से गर्भपात कराना चाहती है। लड़की इस मामले में कई बार अपना रुख बदल चुकी है।

बता दें कि कोर्ट ने कहा कि वह कोई भी आदेश पारित करने से पहले यह सुनिश्चित करना चाहती है कि लड़की फिर अपना मन नहीं बदलेगी। सुनवाई के दौरान दोनों न्यायाधीशों ने लड़की से चैंबर में बात की और जिनसे उसने कहा कि वह गर्भपात कराना चाहती है तथा साथ ही उसने कहा कि उसने डॉक्टर से कहा था कि वह ऐसा नहीं करना चाहती।न्यायमूर्ति एस मुरलीधर और न्यायमूर्ति आई एस मेहता की पीठ ने कहा कि लड़की आठ दिसंबर और 13 दिसंबर के बीच तीन बार अपना मन बदल चुकी है।

दरअसल लड़की आठ दिसंबर को बाल कल्याण समिति (सीडब्ल्यूसी) के समक्ष पेश हुई और उसने कहा था कि वह अपना गर्भपात कराना चाहती हैं। लेकिन बाद में उसकी जांच कर रहे डॉक्टर ने कहा कि वह गर्भपात कराना नहीं चाहती क्योंकि उसने अपनी सहमति से शादी की थी।

वही इस पर अदालत ने निर्देश देते हुए कहा कि लड़की अपने माता-पिता के जरिए कल तक अदालत में एक हलफनामा दायर करें, जिसमें यह साफ तौर पर बताया गया हो कि किन परिस्थितियों में उसने अपना मन बदला। वह हलफनामे में सुस्पष्ट ढंग से बताए कि क्या वह अपनी मर्जी से गर्भपात करना चाहती है।’’ 

पुलिस ने 27 नवंबर को उस व्यक्ति को हिरासत में ले लिया जिससे लड़की ने शादी की थी। लड़की ने अपना घर छोड़ दिया था और अपनी मर्जी से शादी की थी।अब लड़की गर्भवती है और लडकी उम्र भी 18 साल से कम है इस लिए डॉक्टर ने उसके गर्भवती होने को बलात्कार का नतीजा बताया।

 

 

 

 

 

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